गुरु पूर्णिमा के अवसर पर पारोली में हुआ सत्संग का विशाल कार्यक्रम
पारोली 04 जुलाई (केकड़ी पत्रिका न्यूज पोर्टल) संसार में गुरु ज्ञान से बढ़कर कोई शक्ति नहीं है गुरु ज्ञान की शक्ति से मनुष्य वह सब हासिल कर सकता है जो उसके दिल में तमन्ना हो इसलिए प्रत्येक व्यक्ति को गुरु का सम्मान अवश्य करना चाहिए… गुरु पूर्णिमा के अवसर पर पारोली में बीती रात रेगर समाज के बाबा रामदेव मंदिर परिसर में आयोजित सत्संग समारोह के मुख्य अतिथि की हैसियत से बोल रहे रेगर महासभा के प्रदेश उपाध्यक्ष ओमप्रकाश कांसोटिया ने यह बात कही।
इससे पूर्व गुरु पूर्णिमा के अवसर पर बाबा रामदेव मंदिर में विभिन्न मंत्रोचार के साथ गायत्री परिवार संत नानूराम ने समाज के श्रद्धालुओं के बीच कई धार्मिक अनुष्ठान आयोजित किए जिसमें लोगों ने भाग लेकर धर्म लाभ भी प्राप्त किया। वही रात्रि को आयोजित सत्संग समारोह की अध्यक्षता कर रहे गायत्री परिवार गुरु संत नानूराम शक्करगढ़ ने कहा कि व्यक्ति गुरु ज्ञान पाकर संसार के माया जाल से छुटकारा पा सकता है साथ ही व्यक्ति गुरु के बताए मार्ग पर चलकर भवसागर की वैतरणी को पार कर ब्रह्म को भी प्राप्त कर सकता है और कहा की सांसारिक दुखों से छुटकारा पाने के लिए प्रत्येक व्यक्ति को गुरु की शरण में अवश्य जाना चाहिए क्योंकि सांसारिक जीवन में गुरु को ही महान माना गया है।
सत्संग समारोह में विशिष्ट अतिथि के रूप में मौजूद विकलांग संघ के प्रदेशाध्यक्ष महावीर प्रसाद कांसोटिया,रेगर महासभा केकड़ी महिला जिलाध्यक्ष विद्या देवी हिनोनिया,रेगर महासभा के केकड़ी जिला उपाध्यक्ष गुदड़मल जगरवाल,सूरज वर्मा बांसेड़ा आदि का सत्संग कमेटी सदस्य रामलाल ओलेन्डिया,दुर्गा लाल ठेकेदार रामकरण दून्दारिया,सोहनलाल झारोटिया व मदन लाल ओलेन्डिया आदि कार्यकर्ताओं ने अतिथियों का माल्यार्पण व साफा बंधन कर कर स्वागत किया।
सत्संग में हुरडा भीलवाड़ा से आए संत सूरजमल सुकंरिया, किशनलाल सुवासिया थड़ोली, संत मोतीलाल धौड़ नगरी व विद्या देवी हिनोनिया आदि कई संतों ने ईश्वर महिमा भक्ति महिमा व गुरु महिमा पर धार्मिक भजनों की प्रस्तुतियां दी इस पर श्रोता भाव विभोर होकर झूमने पर मजबूर हो गए। रात भर चले सत्संग में सुबह ब्रह्म कालीन समय प्रातः4:15 बजे संत नानूराम महाराज ने “बैकुंठा में बाबा होवे थारी आरती”………. प्रस्तुत कर प्रसाद वितरण की।इस दौरान लादु जगरवाल नयागांव, सांवरमल खटुंमरिया,पुखराज रेगर,बाबू लाल दुन्दारिया,सुवालाल झारोटिया,भागचन्द खटुमरिया आदि सहित कई लोग मौजूद थे।